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नई दिल्ली (शम्स ताहिर खान/परवेज़ सागर)। कहते हैं तस्वीरें झूठ नहीं बोलती और अब चंडीगढ़ के वर्णिका छेड़छाड़ मामले में तस्वीरों की गवाही भी सामने आ गई है. चंडीगढ़ के जिस हाई प्रोफ़ाइल छेड़छाड़ के मामले में पूरे देश के हिला रखा है, उसी मामले में अब दो सीसीटीवी फुटेज सामने आ गए हैं और इन फुटेज में आरोपी विकास बराला की कार पीड़ित लड़की वर्णिका की कार का पीछा करती हुई नज़र आ रही है. शहर की दो अलग-अलग जगहों पर क़ैद हुई ये तस्वीरें वर्णिका की उस हॉरर स्टोरी की तस्दीक करती है, जिसकी शिकायत उसने पुलिस से की है.
हरियाणा के वरिष्ठ IAS वीरेंद्र कुंडू की बेटी वर्णिका कुंडू के साथ छेड़छाड़ का मामला सुर्खियों में है. घटना का मुख्य आरोपी बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सुभाष बराला का बेटा विकास बराला है. विकास और उसके दोस्त को पुलिस स्टेशन से जमानत दिए जाने, उन पर लगाई गई संगीन धाराओं को बाद में हटाने के मामले में पुलिस की कार्यशैली पर सवाल खड़े हो रहे हैं. वहीं सोमवार पुलिस ने इलाके के 5 सीसीटीवी फुटेज बरामद कर लिए हैं जबकि पहले सीसीटीवी फुटेज ना मिलने की बात साने आई थी. पूरे मामले में हरियाणा की खट्टर सरकार घिर गई हैं क्योंकि 'बेटी पढ़ाओ, बेटी बचाओ' का नारा देने वाले हरियाणा सरकार के नारों की पोल खुलती नजर आ रही है.
चंडीगढ़ की सड़कों पर शनिवार रात 12 बजकर 32 मिनट पर कैमरों में क़ैद हुई सीसीटीवी फुटेज अपने-आप में पूरी कहानी बयान करती है. सरसरी तौर पर रात के अंधेरे में दो कारों के गुज़रने की इन तस्वीरों में कुछ भी अटपटा नहीं लगता. लेकिन जब आप इन कार में सवार लोगों और उनसे जुड़ी मिड नाइट हॉरर की पूरी कहानी जानते हों, तो फिर यही सीसीटीवी फुटेज आपके रौंगटे खड़े कर देती है.
जी हां, कैमरे में क़ैद उन तस्वीरों का जवाब देना हरियाणा के रसूखदार सियासी परिवार से ताल्लुक रखने वाले रईसज़ादे विकास बराला और उसके दोस्तों को भारी पड़ सकता है. वजह ये इन्हीं सीसीटीवी फुटेज से जुड़ी कहानी इन रईसज़ादों का शिकार बनी बहादुर लड़की वर्णिका कुंडू पहले ही पूरी दुनिया में आम कर चुकी है. पुलिस को दी गई शिकायत में उसने बताया है कि कैसे उस रात विकास बराला और उसके दोस्तों ने ना सिर्फ़ देर तक उसका पीछा किया, बल्कि बीच सड़क से उसे अगवा करने की भी कोशिश की.
और अब सामने आई सीसीटीवी की ये तस्वीरें वर्णिका के साथ हुए उसी वाक्ये की तस्दीक करती हैं, उसकी गवाही देती हैं. दो अलग-अलग कैमरों से देखिए कि एक काले रंग की सिडान आधी रात को पूरी रफ्तार से चंडीगढ़ की सड़कों पर भाग रही है, जबकि उसके महज़ चंद सेकेंड बाद ही एक एसयूवी उस कार का पीछा करती हुई दिख रही है. और हक़ीक़त ये है कि ये सिडान जहां हरियाणा के सीनियर आईएएस अफ़सर विरेंदर कुंडु की बेटी वर्णिका कुंडू की है, जबकि पीछा करती इस एसयूवी में हरियाणा बीजेपी के चीफ़ सुभाष का बेटा विकास बराला और उसके दोस्तों के होने का इल्ज़ाम है.
वर्णिका के मुताबिक उस रात ये सिलसिला क़रीब 20 से 25 मिनट तक चलता रहा और उसने किसी तरह अपनी जान छुड़ाई. इल्ज़ामों से घिरे रईसज़ादे शायद इन बातों को भी झुठला देते, इन तस्वीरें को इत्तेफ़ाक भी क़रार देते. लेकिन उस मिड नाइट हॉरर की ये तस्वीरें चंडीगढ़ में कोई एक जगह पर नहीं, बल्कि तीन से चार जगहों पर सीसीटीवी कैमरे में क़ैद हुई और इनमें से दो सीसीटीवी की तस्वीरें तो आजतक के पास ही मौजूद हैं. लेकिन जब इतने सीसीटीवी कैमरों में एक सी तस्वीरें क़ैद हों, तो उन्हें हवा में उड़ाना यकीनन आसान नहीं हो सकता.
ये और बात है कि अब इन सीसीटीवी फुटेज को लेकर सियासी रस्साकशी तेज़ है. बहरहाल, अब इन्हीं तस्वीरों की बिनाह पर पुलिस विकास बराला समेत दूसरे मुल्ज़िमों पर शिकंजा और कड़ा करने की बात कह रही है. देखना ये है कि आनेवाले वक्त में वाकई ऐसा हो पाता है या फिर बराला परिवार की रसूख के आगे सबकुछ हवा-हवाई साबित होता है. साभार आजतक
सुभाष बराला परिवार के दो अन्य सदस्यों पर भी लगा रेप का आरोप
हरियाणा बीजेपी अध्यक्ष सुभाष बराला की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। अब उनके परिवार के दो सदस्यों पर एक नाबालिग ने रेप का आरोप लगाया है। हरियाणा बीजेपी अध्यक्ष सुभाष बराला के परिवार से जुड़े एक और मामले में नाबालिग पीड़िता ने न्याय न मिलने पर अब पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट की शरण ली है। याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने मंगलवार को इस मामले की जांच से जुड़ी स्टेटस रिपोर्ट राज्य सरकार से तलब की है। मामले की अगली सुनवाई 31 अगस्त को होगी। नाबालिग रेप पीड़िता ने हाईकोर्ट में दाखिल याचिका में आरोप लगाया कि सुभाष बराला के परिवार के दो लड़कों ने उसके साथ रेप किया है। कुलदीप बराला और विक्रम बराला उसे 21 मई को टोहाना के एक होटल में ले गए और उसके साथ जबरदस्ती की।
आरोपियों ने रेप केबाद उसे धमकी दी कि अगर किसी को इस बारे में बताया तो उसको और उसके परिवार को खत्म कर दिया जाएगा। जब यह मामला सामने आया तो पुलिस ने उसके घर वालों की शिकायत पर मामला दर्ज करने तक से इंकार कर दिया था। पुलिस के इस रवैये के बाद पीड़ित लड़की का परिवार और गांव के लोग सड़कों पर उतर आए और प्रदर्शन किया। इसके बाद पुलिस को एफआईआर दर्ज करनी पड़ी। पीड़िता का कहना है कि दबाव के चलते एफआईआर तो दर्ज हो गई लेकिन पुलिस ने प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष सुभाष बराला के राजनीतिक रसूख और दबाव के चलते इस मामले में कोई भी कार्रवाई नहीं की। पुलिस की कार्रवाई पीड़िता को न्याय दिलाने के स्थान पर उस पर दबाव बनाने वाली रही और पीड़िता को बयानों से पलटने के लिए दबाव बनाया गया। साभार अमर उजाला
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